अति सुशील वह कन्या थी, अरु नाम अहिल्याबाई था।
मुखमंडल की ज्योती देखकर, भास्कर भी शरमाता था।
पुण्यश्लोक राजमाता महारानी अहिल्यादेवी होलकरजी की रंग-महाल, चांदवड (महाराष्ट्र) स्थित मूर्ति। यह रंग-महाल अहिल्यादेवीजी ने अपने शासनकाल में बनवाया था। आजभी यह भव्य रंग-महाल, उस सुवर्णकाल का गौरवशाली इतिहास का अनुभव करवाता है ।
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